Wednesday, March 10, 2021

महाशिवरात्रि २०२१

शिव विरुद्धों का सामंजस्य हैं। शिव आदियोगी भी हैं तो पार्वती के साथ दाम्पत्य में भी हैं। भोलेनाथ हैं तो तांडव भी कर सकते हैं। क्रोधित हो बाल गणेश का सर काट सकते हैं तो हलाहल का पान भी कर सकते हैं। देवों के देव महादेव हैं तो रावण के इष्ट भी। रौद्र रूप धारी रुद्र हैं, काल भैरव हैं तो समस्त आयुर्वेद के ज्ञाता वैद्यनाथ भी हैं। त्रिनेत्र खोल कर संहारक बनते हैं तो महाकाली के क्रोध को शांत भी करते हैं। काल जिसका अर्थ समय, मृत्यु, संकट कुछ भी हो, तो शिव स्वयं महाकाल हैं। शिव से परे कुछ नहीं, शिव के सिवा कुछ नहीं ।

महाशिवरात्रि की बहुत शुभकामनाएं। हर हर महादेव।।

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